अब महिलाएँ भी चलाएंगी DTC बसों को, दी जाएगी महिलाओं को इसके लिए खास ट्रेनिंग
नई दिल्ली: देश की आजादी के 75 वीं वर्षगांठ पर दिल्ली सरकार के ट्रांसपोर्ट विभाग ने महिला सशक्तिकरण हेतु एक महत्वपूर्ण योजना को लांच किया था. महिलाओं को एक कदम और सफल बनाने हेतु ट्रांसपोर्ट विभाग की यह नई योजना बेहद अहम मानी जा रही है.
आपको बता दें कि इस नई योजना के तहत अब कैब चलाने की इच्छुक महिलाएं ट्रेनिंग ले सकेगी और सरकार भी इसमें उनका पूरा सहयोग करेगी. आपको बता दें कि महिलाओं को कैब चलाने में विशेष योग्यताओं हेतु 23 दिन और 29 घंटों की ट्रेनिंग दी जाएगी. जो उन्हें कैब ड्राइविंग में एक्सपर्ट बना सकेंगी.
आपको बता दें कि कैब ड्राइविंग की यह ट्रेनिंग पूरी होने के बाद महिलाओं को लाइट मोटर व्हीकल चलाने का लाइसेंस मिलेगा. इसके साथ ही उनकी ट्रेनिंग पर निवेश करने वाली कंपनी उन्हें अपने यहां नौकरी भी मुहैया करवाएगी.
ट्रेनिंग पर होगा इतना खर्चा !
रिपोर्ट का कहना है कि महिलाओं को यह ट्रेनिंग दिए जाने पर प्रति महिला तकरीबन ₹9000 का खर्च आएगा. जिसे परिवहन विभाग और ट्रेनिंग दिलवाने वाली कंपनी आधा-आधा वहन करेंगे. इस ट्रेनिंग प्रोग्राम की औपचारिक शुरुआत स्वतंत्र दिवस के मौके पर ही की गई. जिसके बाद से इसे लागू कर दिया गया.
उद्घाटन के दिन पूर्वी दिल्ली के सांसद गौतम गंभीर, दिल्ली के मुख्य सचिव नरेश कुमार, ट्रांसपोर्ट कमिश्नर आशीष कुंद्रा समेत ट्रांसपोर्ट स्पेशल कमिश्नर ओपी मिश्रा, ज्वाइंट कमिश्नर नरेंद्र कुमार सिंह और डिप्टी कमिश्नर विनोद यादव सहित कई अधिकारी मौजूद रहे.
कहां और कैसे होगा ट्रेनिंग प्रोग्राम ?
आपको बता दें कि महिलाओं को ड्राइविंग की ट्रेनिंग देने का यह खास प्रोग्राम सराय काले खान इंसिट्यूट ऑफ ड्राइविंग एंड ट्रेफिक रिसर्च के विशेषज्ञों की निगरानी में किया गया है. यह प्रोग्राम कुल 23 दिन का है. जिसमें महिलाओं को तकरीबन 29 घंटे की ट्रेनिंग दी जाएगी. वहीं यहां 2 दिन 4 घंटे की थ्योरी क्लास भी रखी जानी है.
जिसके बाद 4 दिन तक एक 1 घंटे का ड्राइविंग सिमुलेटर पर ट्रेनिंग भी दी जाएगी. बाकी 17 दिन रोज 1 घंटे की प्रैक्टिकल ड्राइविंग में ट्रेनिंग इंस्टिट्यूट के परिसर में और मेन सड़क पर गाड़ी चलवा कर दी जाएगी. महिलाओं की ट्रेनिंग पूरी होने के बाद उनका टेस्ट भी लिया जाएगा और पास होने वाली महिलाओं को ही लाइट मोटर व्हीकल का लाइसेंस दिया जाएगा.